दिल्ली दंगे : वायरल फोटो का खलनायक शाहरुख शामली से गिरफ्तार कर लाया गया

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दिल्ली दंगे के दौरान गोलियां चलाने वाले शाहरुख़ पठान के सामने साहसी हेड कांस्टेबल दीपक दहिया.

दिल्ली में दंगे के दौरान पुलिस की मौजूदगी में गोलियां चलाने वाले शाहरुख पठान नाम के उस शख्स को गिरफ्तार कर लिया गया है जिसके सामने साहसी हवलदार (हेड कांस्टेबल) दीपक दहिया दीवार बन के आ खड़ा हुआ था. मैरून रंग की टी शर्ट पहने शाहरुख़ की, जाफराबाद में पुलिस पर पिस्टल ताने इस घटना की तस्वीर बेहद वायरल हुई थी.

पिस्टल से फायरिंग करते शाहरुख पठान को डंडे के दम पर रोकता सिपाही दीपक दहिया. शाहरुख घूम-घूमकर गोली चला रहा था (दाएं फोटो में).

दिल्ली पुलिस के मुताबिक़ शाहरूख को पश्चिम उत्तर प्रदेश के शामली से गिरफ्तार करके दिल्ली लाया गया है. वह जाफराबाद के पास ही के इलाके ब्रह्मपुरी का रहने वाला है. शाहरुख के खिलाफ पहले कोई आपराधिक मामला नहीं है लेकिन पुलिस ने बताया कि आपराधिक इतिहास है. शाहरुख के पिता पर नशीले पदार्थ निवारक कानून समेत कई और अपराधों से जुड़े केस भी हैं. गोलियां चलाकर और पुलिस पर पिस्टल तानने के बाद फरार हुआ शाहरुख एक हफ्ते तक पुलिस से बचता रहा लेकिन आखिर क़ानून के हाथ पहुँच उस तक पहुंच ही गये. फोटो और तमाम जानकारियाँ होने के बाद भी पुलिस को शाहरुख को गिरफ्तार करके दिल्ली लाने में एक सप्ताह लगा है. उसको दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच की टीम ने गिरफ्तार किया है.

उत्तर प्रदेश के शामली से गिरफ्तार कर दिल्ली लाया गया शाहरूख.

उल्लेखनीय है कि ये घटना दिल्ली में शुरू हुए दंगे के अगले ही दिन यानि 24 फरवरी की थी. 2012 में दिल्ली पुलिस में भर्ती हुए दीपक दहिया की वजीराबाद पुलिस सेंटर में ट्रेनिंग चल रही थी. हेड कांस्टेबल दीपक दहिया ने बताया था कि उसे इमरजेंसी ड्यूटी के लिए यहाँ बुलाया गया था. जब दीपक ने शाहरुख को गोलियां चलाते देखा तो उसके जा खड़ा हुआ. ऐसे में बेहद जोखिम था क्यूंकि शाहरुख दीपक को भी निशाना बना सकता था. हालांकि इस तस्वीर से दिल्ली पुलिस की छीछालेदर भी हुई थी क्यूंकि शाहरूख फरार होने में कामयाब हो गया था लेकिन दीपक की बहादुरी की तारीफ़ भी सब कर रहे थे.

दिल्ली पुलिस के अतिरिक्त आयुक्त डॉ ए के सिंगला ने बताया की शाहरुख ने कॉलेज की पढ़ाई अधूरी छोड़ दी थी. वह मोजे बनाने की फैक्ट्री चलाता है.

अब तक की पूछताछ में शाहरुख ने पुलिस को बताया कि उसने दो साल पहले 7.65 बोर की ये पिस्तौल अपनी फैक्ट्री के एक कर्मचारी के जरिये खरीदी थी. शाहरुख का कहना है कि जब उसने गोलियां चलाईं उस दिन उसके साथ और कोई नहीं था. हालात को देखकर उसमे जुनून सवार हुआ और उसने भीड़ से निकलकर ये सब किया. हालांकि शाहरुख दंगाइयों की भीड का हिस्सा था. पुलिस ने बताया कि शाहरुख की पिस्तौल की गोलियों के खोल भी मौके से मिले और शेष बची गोलियां भी उससे बरामद हुई हैं. उसकी चलाई गोली किसी को नहीं लगी थी. इससे पहले कि वो और गोलियां चलाता हेड कांस्टेबल दीपक दहिया शाहरुख के सामने आ गया था जबकि दीपक के पास महज़ एक डंडा था.

पूछताछ में शाहरुख ने बताया की वारदात के बाद वो अपनी कार से फरार हो गया था. पहले वो कुछ देर कार रुककर सोया और फिर जलंधर चला गया. वहां रहने के बाद वो बरेली और फिर शामली आ गया था. पुलिस का कहना है कि शाहरुख को मॉडल बनने का शौक है और वो टिक टाक से भी अपने वीडियो बनाता रहता है.