भारतीय थल सेना की कमान सम्भाल चुके जनरल सुनीथ फ्रांसिस रोड्रिग्स ने 88 साल की उम्र में 4 मार्च को इस दुनिया को अलविदा कह दिया. भारत के चीफ ऑफ़ आर्मी स्टाफ रहे जनरल रोड्रिग्स बाद में पंजाब के राज्यपाल भी बनाए गये थे. सेनाध्यक्ष मनोज मुकुंद नरवणे, गोवा के मुख्यमंत्री प्रमोद सावंत समेत कई लोगों ने जनरल रोड्रिग्स के निधन पर अफ़सोस ज़ाहिर किया है.
मुंबई में जन्मे और पले बढ़े सुनीत फ्रांसिस रोड्रिग्स के परिवार की जड़ें गोवा में हैं और रिटायरमेंट के बाद उन्होंने खुद को गोवा के प्रति समर्पित भी कर दिया था. यहीं राजधानी पणजी में उन्होंने एक निजी अस्पताल में 4 मार्च को दोपहर अंतिम सांस ली. जनरल रोड्रिग्स को यहां 15 दिन पहले भर्ती किया गया था.
भारतीय सेना में अपनी सेवा के 40 बरस देने वाले सुनीथ फ्रांसिस रोड्रिग्स 1990 से 1993 के बीच भारत के आर्मी चीफ रहे और उन्होंने 2004 से 2010 तक पंजाब के राज्यपाल के ओहदे पर को भी संभाला. यही नहीं राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार बोर्ड में भी उनका कार्यकाल दो बार रहा. वे एक विचारक और रणनीतिकार थे.
सेवानिवृत्ति के बाद जनरल रोड्रिग्स ने खुद को सामाजिक कार्यों में व्यस्त कर लिया था. वे लिखते पढ़ते भी थे और सामरिक महत्व के मुद्दों पर व्याख्यान भी देते थे. जनरल रोड्रिग्स के निधन पर शोक ज़ाहिर करते हुए सेना की तरफ जारी बयान में कहा गया है कि अमूल्य कार्य और योगदान व सेवा के लिए राष्ट्र व सेना हमेशा उनके ऋणी रहेंगे.